बिमारी से बचने के लिए क्या उपाय करें?
अभी के समय की ज़िन्दगी में एक तरफ जहां लोगों ने अपने जीवन को बेहद आरामदायक और सुखद बना लिया है, वहीं दूसरी ओर हम अपनी ही सेहत के प्रति लापरवाह होते जा रहे हैं। बिमारी से बचने के लिए क्या उपाय करें? इस टॉपिक पैर तो हजारो बाते है पर आज हम कुछ खास चीजों के बारे में बात करेंगे , आज के समय में बिमारी की दर दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है, और इसका मुख्य कारण हमारी गलत जीवनशैली और शारीरिक गतिविधियों की कमी है। Bimari se bachne ke liye kya upay kare में पहले लोग अपने रोज़मर्रा के कामों में व्यस्त रहते थे, जो उनकी सेहत के लिए बहुत फायदेमंद था। लेकिन अब मशीनों ने हमारी बहुत सी मेहनत आसान कर दी है यानि की एक तरह से अपाहिज बना दिया है । हम अपनी सेहत की ओर ध्यान नहीं दे पाते। इस पोस्ट में हम चर्चा करेंगे कि बिमारी से बचने के लिए हमें किन उपायों को अपनाना चाहिए और हम किस प्रकार अपनी पूरी जीवनशैली को बेहतर बना सकते हैं ताकि हमारा शरीर स्वस्थ और ताक़तवर रहे।
1. शारीरिक मेहनत का महत्व:
आपने अक्सर लोगो को कहते सुना होगा कि “स्वास्थ्य ही जीवन की सबसे बड़ी दौलत है।” और यह सच भी है। आजकल के लोग अपनी दिनचर्या में शारीरिक मेहनत को तो बिल्कुल कम कर चुके हैं। पहले लोग खुद घर का काम करते थे, खेतों में काम करते थे, बहुत मेहनत करते थे, जिससे उनका शरीर काफी मजबूत और स्वस्थ रहता था। अब तो हम मशीनों का उपयोग करते हैं, जैसे कि घर की सफाई के लिए वैक्यूम क्लीनर, कपड़े धोने के लिए वॉशिंग मशीन, इत्यादि। इससे हमारी शारीरिक गतिविधियों में बहुत ज्यादा कमी आई है, और हम शारीरिक थकावट का अनुभव भी नहीं करते।
अगर हम बिमारी से बचना चाहते हैं तो हमें अपनी जीवनशैली में शारीरिक मेहनत को फिर से वापस लाना होगा। यह जरूरी नहीं कि हम खेतों में काम करें, लेकिन रोज़ाना कुछ शारीरिक गतिविधियाँ तो करनी चाहिए। जैसे कि घर का काम खुद से करना, सीढ़ियाँ चढ़ना-उतरना, और सबसे ज़रूरी व्यायाम करना। यदि हम कुछ समय अपने मंडी रूपी शरीर को शारीरिक मेहनत देंगे, तो हमारा शरीर स्वस्थ और हमेशा तंदुरुस्त रहेगा।
2. शारीरिक गतिविधियाँ और व्यायाम:
आजकल के लोग अपनी सेहत के प्रति अधिक ज्यादा जागरूक हो गए हैं, लेकिन फिर भी उन्हें यह समझना ज़रूरी है कि केवल सिर्फ जिम में जाकर व्यायाम करना ही पर्याप्त नहीं है। व्यायाम का मतलब है की शारीरिक गतिविधियों में भाग लेना, जैसे दौड़ना, साइकिल चलाना, योग करना, तैरना, mix martial art , इत्यादि। ये सभी शारीरिक गतिविधियाँ हमें शारीरिक रूप से बहुत मजबूत बनाए रखती हैं।
आपमें से कई लोग यह सोचते होंगे कि सिर्फ और सिर्फ जिम में व्यायाम करने से ही शरीर को फिट रखा जा सकता है, लेकिन यह बिलकुल ही गलत है। व्यायाम के कई सरे प्रकार हैं, जिन्हें हम अपनी दिनचर्या में शामिल कर सकते हैं। उदाहरण के तौर पर, हम पार्क में सैर करने जा ही सकते हैं, साइकिल चला सकते हैं, दौड़ सकते हैं, या फिर घर पर ही रहकर योगा और प्राणायाम कर सकते हैं।
ध्यान देने योग्य बात यह है कि जब भी हम व्यायाम करते हैं, तो शरीर में मांसपेशियाँ बहुत मजबूत होती हैं और इम्यून सिस्टम भी सशक्त होता है, जिससे शरीर बिमारीयों से लड़ने में सक्षम होता जाता है। एक और बात ध्यान में रखने योग्य है कि व्यायाम में अत्यधिक लापरवाही नहीं बरतनी चाहिए। यदि हम बहुत अधिक साइकिल चलाते हैं या अत्यधिक मेहनत करते हैं तो यह शरीर पर प्रतिकूल प्रभाव भी डाल सकता है। धीरे धीरे आदत बनाना चाहिए।
3. मानसिक स्वास्थ्य:
शारीरिक स्वास्थ्य के साथ-साथ आपका मानसिक स्वास्थ्य भी उतना ही महत्वपूर्ण है। हमारी मानसिक स्थिति और शारीरिक स्थिति एक-दूसरे से बहुत गहरी जुड़ी होती हैं। जब हमारा मन शांत और सकारात्मक बना रहता है, तो हमारा शरीर भी स्वस्थ बना रहता है। आजकल के तनावपूर्ण जीवन में मानसिक शांति को बनाए रखना बहुत कठिन हो गया है। लेकिन अब हमें इस पर काम करने की आवश्यकता है।
योग, ध्यान और प्राणायाम से हम अपनी मानसिक शांति प्राप्त कर सकते हैं। इन गतिविधियों से मन शांत जरूर होता है और हम तनावमुक्त रहते हैं। मानसिक शांति से हमारी कार्यक्षमता भी काफी बढ़ती है और हम सकारात्मक तरीके से जीवन को जीने में सक्षम होते हैं। आप रोज़ाना कुछ समय अपनी पसंदीदा गतिविधियों में व्यतीत करते हैं, जैसे किताबें पढ़ना, संगीत सुनना, या फिर प्रकृति में घूमना, तो यह भी आपके मानसिक स्वास्थ्य के लिए बेहद फायदेमंद होगा।
आपको यह सही से समझना होगा कि मानसिक शांति किये बिना शारीरिक स्वास्थ्य पर ध्यान देना बेकार है। इसलिए, मानसिक शांति और शारीरिक स्वास्थ्य दोनों के बीच संतुलन बनाए रखना बहुत ही ज्यादा ज़रूरी है।
4. सही आहार और जल का सेवन:
शरीर स्वस्थ रहने के लिए सही आहार का सेवन करना अति आवश्यक है। आजकल के लोगों का जो भी खानपान है वो पूरी तरह से बदल चुका है। हम पैक्ड और प्रोसेस्ड फूड्स का सेवन अधिक मात्रा में करते हैं, जो हमारी सेहत के लिए बेहद हानिकारक हो सकते हैं। ज़रूरी है कि हम अपने आहार में ताजे फल, हरी सब्जियाँ, पूरे अनाज, और प्रोटीन से भरपूर भोजन को ही शामिल करें। इसके अलावा, तले-भुने, मसालेदार और जंक फूड्स से बिलकुल बचना चाहिए।
पानी हमेशा ज्यादा पिए। पानी का सेवन भी अति महत्वपूर्ण है। शरीर में पानी की कमी से कई तरह की गंभीर समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं, जैसे कि किडनी स्टोन, कब्ज़, थकान, सिरदर्द, आदि। इसलिए हमें ज्यादा मात्रा में पानी पीने की आदत डालनी चाहिए। दिनभर में कम से कम 7 से 8 गिलास पानी पीने से शरीर के विषैले पदार्थ बिलकुल बाहर निकल जाते हैं और शरीर की कार्यप्रणाली सही रूप से चलती रहती है।
इसके अलावा, हमें खाने का समय भी सही और सटीक रखना चाहिए। देर रात को भारी भोजन करना सेहत के लिए बहुत ही हानिकारक हो सकता है, क्योकि रत को खाना खाके सोना ही तो है कुक करना थोड़ी है की भोजन पांच जाये , इसलिए हमें नियमित रूप से समय पर भोजन जरूर करना चाहिए।
5. पर्याप्त नींद का महत्व:
हमारी नींद के बिना शरीर स्वस्थ नहीं रह सकता। आजकल के भागदौड़ भरे जीवन में लोग अपनी नींद तक को नजर अंदाज करते हैं, लेकिन यह शरीर के लिए अत्यंत ही महत्वपूर्ण है। यदि आप पूरी नींद नहीं लेते तो आपका शरीर ठीक से कार्य नहीं कर पाता और मानसिक स्थिति भी काफी ज्यादा प्रभावित होती है।
विशेषज्ञों के शोध के अनुसार , एक स्वस्थ व्यक्ति को हर रात 7-8 घंटे की नींद जजूर लेनी चाहिए। यह शरीर के पुनर्निर्माण में मदद करता है और शरीर की कार्यप्रणाली को सुचारु रूप से बनाए रखने में सहायता करता है। पर्याप्त नींद से शरीर को पूरी तरह से आराम मिल जाता है और मानसिक स्थिति भी सुधर जाती है।
6. स्वच्छता और साफ-सफाई:
स्वच्छता हमारे जीवन का एक अभिन्न हिस्सा है। अगर हम अपनी सेहत को सही प्रकृति के हिसाब से सही रखना चाहते हैं, तो हमें स्वच्छता का विशेष ध्यान रखना ही होगा। हाथों की सफाई, घर की सफाई, और खुद की सफाई से हम
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